MP News : मध्य प्रदेश में इस साल विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। इसको लेकर काफी ज्यादा राजनीति में उथल-पुथल मची हुई है। कांग्रेस और बीजेपी दोनों पार्टियों के बीच भी जंग चल रही है। दोनों पार्टी एक दूसरे पर लगातार तंज कस रहे हैं। इतना ही नहीं जगहों के नाम बदलने का सिलसिला भी प्रदेश में लगातार इस चुनावी साल में जारी है। जिसको लेकर भी कांग्रेस और बीजेपी दोनों पार्टियों में विवाद मचा हुआ है।
अभी हाल ही में जानकारी सामने आई है बताया जा रहा है कि मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के बड़ी बेटे के नाम पर बुधनी में स्थित नेहरू पार्क का नाम रख दिया गया है। जिसके बाद कांग्रेस और बीजेपी पार्टी में सियासी जंग मच गई है। नाम बदलने को लेकर काफी ज्यादा विवाद किया जा रहा है, क्योंकि जनता ने शिवराज सिंह के बड़े बेटे कार्तिकेय के नाम पर नेहरू पार्क का नाम रख दिया।
जानकारी के मुताबिक, विधानसभा चुनाव होने से पहले ही सीहोर जिले की बुधनी विधानसभा में अब तक दो पार्कों के नाम बदले जा चुके हैं। इसमें नेहरू पार्क भी शामिल है। नेहरू पार्क के नाम बदलने पर कांग्रेस नेता अजय सिंह द्वारा एक बयान दिया गया था जिसमें उन्होंने कहा है कि बीजेपी सरकार प्रदेश के उन महापुरुषों का नाम मिटा रही है जिनका देश को आजाद करने में काफी बड़ा योगदान रहा है।
मुख्यमंत्री खुद बेटों के नाम पर जगहों के नाम रखने दे रहे हैं। दरअसल, पूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के नाम पर जिस पार्क का नाम रखा गया था उसे बदलकर जनता ने शिवराज सिंह चौहान के बड़े बेटे कार्तिकेय के नाम पर रख दिया। इतना ही नहीं दशहरा मैदान पर नवनिर्मित पार्क का नाम उन्होंने अपने छोटे बेटे कुणाल के नाम पर रख दिया।
उन्होंने आगे तंज कसते हुए कहा कि कार्तिकेय पंडित नेहरू के योगदान के आगे कहां खड़े हुए हैं? क्या वह जवाहरलाल नेहरू से भी आगे हो गए हैं? उन्होंने कहा कि पार्क, चौराहों, सड़कों, और भवनों के नामांतरण उन महापुरुषों समाजसेवी के नाम पर किए जाते हैं जो इस दुनिया में नहीं रहे।
जिन्होंने इस दुनिया में अपना योगदान दिया है। नामकरण के बहाने हैं उनके योगदान को चिरस्थायी बनाया जाता है। लेकिन अब वह परंपरा धीरे-धीरे खत्म होती जा रही है और नई परंपरा शुरू की जा रही है। अगर नगर पालिका ने ये काम चापलूसी में कर रही है तो मुख्यमंत्री को इसमें हस्तक्षेप करना चाहिए था और नेहरू का नाम हटाने से रोकना चाहिए था। इस पर पलटवार करते हुए सत्तारूढ़ भाजपा ने कहां है कि स्थानीय लोगों ने अपने प्यार की वजह से पार्क का नाम बदला है। इससे कांग्रेस को कोई आपत्ति नहीं होनी चाहिए।