होशंगाबाद/इटारसी,राहुल अग्रवाल। 2 अक्टूबर मोहनदास करमचंद गाँधी यानी महात्मा गांधी की जयंती है। आज बापू हमारे बीच नही है पर उनकी कही हुई बाते और संघर्ष आज भी हमे मार्गदर्शित करते है। बापू के संघर्ष की कहानी बहुत लंबी है पर आज का विषेषांक बापू के इटारसी प्रवास पर है। बापू का इटारसी से पुराना नाता रहा है। इटारसी के गोठी धर्मशाला में बापू ने एक दिन रुक कर विश्राम किया था। आज भी वो कक्ष वही है और वैसा ही है जिसे संग्रहालय का रूप दिया जा चुका है। जहां आज बापू के प्रवास के समय की वस्तुएं और उनका लिखा हुआ लेटर सुरक्षित रखा हुआ है ।
इटारसी से है महात्मा गांधी का पुराना नाता, जिस कक्ष में रुके वहां है संग्रहालय
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