लंबे समय तक बना रह सकता है कोरोना संक्रमितों में इसका असर, सर्वे में हुआ खुलासा

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दिल्ली,डेस्क रिपोर्ट। कोरोना की दहशत से अभी भी दुनिया उबर नही पाई है, अभी भी लगातर पूरी दुनिया में एक्सपर्ट कोरोना पर शोध कर रहे है, एक तरफ कोरोना आया कहा से इसके लिए डब्ल्यूएचओ ने नई टीम गठित की है जो जांच करेगी वही अब एक और सर्वे में यह सामनें आया है कि कोरोना वायरस की चपेट में आने वाले पीड़ित उबरने के बाद भी जूझते रहते हैं। दावा है कि ठीक होने के बाद भी कुछ पीड़ितों में कोरोना का कोई लक्षण लंबे समय तक रह सकता है। सर्वे के अनुसार कोरोना संक्रमित पाए जाने के तीन से छह महीने बाद भी 35 फीसदी से ज्यादा लोगों में कम से कम एक लक्षण पाया गया। ब्रिटेन की आक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं के अनुसार, सांस लेने में तकलीफ, थकान, पेट की समस्या और एंग्जाइटी या डिप्रेशन जैसे सबसे आम लक्षण पाए गए हैं।

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टीम ने सदस्यों ने यह निष्कर्ष कोरोना संक्रमण से उबरने वाले दो लाख 70 हजार से अधिक लोगों पर किए गए अध्ययन के आधार पर निकाला है। इसमें कोरोना के लंबे असर पर गौर किया गया। शोधकर्ताओं ने बताया कि आम तौर पर उन पीड़ितों में लंबे समय तक कोरोना लक्षण पाए गए, जो अस्पताल में भर्ती रहे। महिलाओं में भी यह समस्या पाई गई है।बुजुर्गो और पुरुषों में सांस लेने की समस्या और स्मृति में गिरावट जैसे लक्षण पाए गए। जबकि महिलाओं में सिर दर्द, पेट की समस्या और एंग्जाइटी या डिप्रेशन ज्यादा पाया गया। अध्ययन के प्रमुख शोधकर्ता पाल हैरिसन ने कहा, इस पर तत्काल ध्यान दिए जाने की जरूरत है कि हर कोई कोरोना से जल्दी क्यों नहीं पूरी तरह ठीक हो पाता है। हमें उन विभिन्न लक्षणों के आधार पर उस तंत्र की पहचान करने जरूरत है, जो कोरोना से उबरने वालों पर असर डाल सकता है।

 


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Harpreet Kaur

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