श्रावण (Sawan) का महीना 14 जुलाई से शुरू हो रहा है यह महीना बेहद ही पवित्र महीना माना जाता है। भगवान शिव को भी यह महीना बहुत प्रिय है। धर्म में भी सावन (Sawan Somwar) का काफी ज्यादा महत्व माना गया है। इस महीने में भगवान शिव का आशीर्वाद लेने के लिए भक्त सच्चे मन से व्रत रखते हैं। साथ ही कहा जाता है कि इस महीने में सच्चे मन से पूजा अर्चना करने से भी भगवान शंकर भक्तों से बेहद प्रसन्न रहते हैं।
लड़कियां भी इस महीने में उपवास रख मनचाह वर पाने की मनोकामनाएं करती है। कहा जाता है भोलेनाथ भक्तों से प्रसन्न होकर उन्हें अपनी पसंद का जीवनसाथी मिलने का भी आशीर्वाद देते है। आपको बता दे, इस महीने में भी भगवान शिव और माता पार्वती का मिलन हुआ था। ऐसे में ये महीना और ज्यादा पवित्र माना जाता है। खास बात ये है कि इस महीने में भक्त हर सोमवार का उपवास करते हैं। वहीं अविवाहित लड़कियां भी अपना मनपसंद वर पाने के लिए व्रत रखती है।
गुरु पूर्णिमा पर इस विधि से करेंगे पूजा तो मिलेगी सफलता, सीएम शिवराज ने दी शुभकामनाएं
ऐसी मान्यता है कि 16 सोमवार का व्रत रखने से उन्हें मनचाहे वर की प्राप्ति होती है। 16 सोमवार का व्रत अगर कोई रखता है तो वह उस व्रत की अवधि भी आगे बढ़ा सकता है। इसका भी विकल्प दिया गया है। आज हम आपको व्रत के दौरान रखने वाली सावधानियों के बारे में बताने जा रहे हैं। आपको उपवास करते वक्त इन बातों का ध्यान रखना बेहद जरुरी है। खास कर कुछ ऐसी चीज़ें है जो नहीं खाना चाहिए और कुछ ऐसे व्रत है जिन्हे सावन के महीने में पहनना वर्जित माना गया है। तो चलिए जानते है –
4 सोमवार का योग –
आपको बता दे, कल से सावन का महीना शुरू हो रहा है। ऐसे में पहला सोमवार 18 जुलाई के दिन आ रहा है और आखरी सोमवार 8 अगस्त के दिन है। सावन के महीने का समापन 12 अगस्त के दिन होगा। खास बात इस बार सावन में ये है कि 4 सोमवार आ रहे हैं, ऐसे में इसे बेहद सुबह माना जा रहा है।
सावन व्रत के दौरान इन बातों का रखें ध्यान –
- आपको बता दे, सावन का व्रत भगवान शिव से संकल्प लेकर शुरू करना चाहिए। इतना ही नहीं इस व्रत को पूरी ईमानदारी के साथ करना चाहिए। व्रत करने के लिए आपको सुबह जल्दी उठ कर स्नान करना है और घर की सफाई करना है।
- उसके बाद अगर आप घर में भी भगवन शिव की पूजा अर्चना कर रहे है तो आप इस बात का ध्यान रखें कि उत्तर-पूर्व दिशा में भगवान शिव की मूर्ति रखी हो। वहीं मूर्ति और चित्र की स्थापना करने से पहले जगह को और घर को गंगाजल से पवित्र कर लें।
- उसके बाद संकल्प लेकर पूजा करें। पूजा में ध्यान रखें की कुछ जलत सामग्री का इस्तेमाल आपसे ना हो जाए। इन पूजन सामग्री का ही करें इस्तेमाल जल, दही, दूध, चीनी, घी, शहद, पंचामृत, वस्त्र, जनेयू, चंदन, कच्चा चावल, फूल, बेल पत्र, भांग, धतूरा, कमल गट्टा, प्रसाद, पान सुपारी, लौंग, इलायची, मेवा होना चाहिए। इसके अलावा शाम के समय व्रत का खाना जरूर खाना चाहिए।
इन चीज़ों से रहे सावधान –
- पूजा के दौरान शिव जी को हल्दी, केतकी के फूल, तुलसी के पत्ते भूल कर भी ना चढ़ाएं।
- इस पूरे महीने में दूध के सेवन से बचना चाहिए।
- साथ ही व्रत के दौरान लहसुन, प्याज, मसूर की दाल और बैगन से परहेज करना चाहिए।
- इस महीने में मांसाहारी भोजन नहीं करना चाहिए। साथ ही शराब भी नहीं पीना चाहिए।