Pension Plan: प्राइवेट नौकरी करने वालों सरकारी कर्मचारियों की तरह पेंशन या अन्य सुविधाओं का लाभ नहीं मिल पाता। लेकिन सही रिटायरमेंट प्लान का चयन कर कर्मचारी 58 वर्ष के उम्र पर भी पेंशन का लाभ उठा सकता हैं। इसमें आपकी मदद ईपीएफओ द्वारा संचालित होने वाली पेंशन स्कीम “कर्मचारी पेंशन योजना” करेगी। इसे ईपीएस (EPS) भी कहा जा सकता है।
स्कीम के बारे में
ईपीएस का लाभ केवल वे लोग की उठा सकते हैं, जिन्होनें 10 साल नौकरी की हो। 58 वर्ष के अधिक उम्र के कर्मचारी ही इसके लिए आवेदन कर सकते हैं। हालांकि इसे 2 साल के लिए स्थगित करने की सुविधा भी उपलब्ध होती, ऐसा करने वालों को 4% बोनस के साथ 60 साल की उम्र के बाद पेंशन मिलती है। स्कीम के कई प्रकार होते हैं। जिसमें विधवा पेंशन, अनाथ पेंशन, घटी हुई पेंशन शामिल हैं।
ये रहा कैलकुलेशन
इस स्कीम के तहत कंपनी और कर्मचारी दोनों को ही ईपीएफ फंड में कर्मचारी के वेतन से 12% समान योगदान करते हैं। जिसमें कर्मचारी का हिस्सा ईपीएफ और कंपनी के शेयर का 8.33% ईपीएस और 3.67% ईपीएफ में हर महीने जाता है। पेंशन को कैलकुलेट करने का फॉर्मूला “कर्मचारी का मासिक वेतन =पेंशन योग्य वेतन x पेंशन योग सेवा/70” है। यदि किसी व्यक्ति की सैलेरी 15000 रुपये है। तो उसे 1500 x 8.33/100 के हसब से 1250 रुपये की पेंशन मिलेगी। वहीं यदि कर्मचारी 20 साल तक नौकरी करता है तो इस हिसाब उसे 4286 रुपये की पेंशन मिल सकती है। वहीं यदि व्यक्ति महीने में 30 हजार कमाता है तो उसे 12,857 रुपये वेतन के रूप में मिल सकते हैं।
(Disclaimer: इस आलेख का उद्देश्य केवल जानकारी साझा करना है। MP Breaking News किसी भी स्कीम में निवेश की सलाह नहीं देता।)