महिला उद्यमी सम्मेलन एवं रक्षाबंधन कार्यक्रम में शामिल हुए सीएम डॉ. मोहन यादव, 850 से अधिक उद्योगों को 275 करोड़ के अनुदान का अंतरण किया

मुख्यमंत्री ने कहा कि देश को आगे बढ़ाने के लिए उद्यम और उद्यमियों को बढ़ावा देने की ज़रूरत है और सरकार इसके लिए लगातार प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि आज के दौर में बहनें अपने जीवन में आत्मनिर्भरता और प्रतिष्ठा हासिल कर रही हैं और ऐसे में हमें अपने  इतिहास की जागरूक और सशक्त महिला किरदारों को भी याद करना चाहिए।

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Women Entrepreneurs Conference Bhopal : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव आज भोपाल के कुशाभाऊ ठाकरे सभागार में आयोजित महिला उद्यमी सम्मेलन एवं रक्षाबंधन कार्यक्रम में सम्मिलित हुए। उन्होंने दीप प्रज्ज्वलन एवं कन्या पूजन कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। इस अवसर कैबिनेट मंत्री चेतन कश्यप, सांसद आलोक शर्मा सहित कई गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे।

महिला उद्यमी सम्मेलन में मुख्यमंत्री ने की शिरकत 

सीएम डॉ. मोहन यादव ने भोपाल में आयोजित “महिला उद्यमी सम्मेलन” में सिंगल क्लिक द्वारा 12 उद्योगों का भूमिपूजन एवं 99 उद्योगों का लोकार्पण किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री जी ने एमएसएमई श्रेणी के 850 से अधिक उद्योगों को 275 करोड़ के अनुदान का भी अंतरण किया। “महिला उद्यमी सम्मेलन” में उन्होंने महिला उद्यमी संजना अग्रवाल, दीप्ती तोमर एवं निवेदिता दुबे को उद्यम स्थापित करने के लिए ऋण राशि का चेक वितरण किया और शुभकामनाएँ भी दी। कार्यक्रम में सम्मिलित हुईं बहनों ने मुख्यमंत्री मोहन यादव को विशाल राखी भेंट की और उनकी कलाई पर भी राखी बांधी।

कहा ‘महिला उद्यमियों को आगे बढ़ाने के लिए तत्पर’

कार्यक्रम में सीएम ने कहा कि ‘देश को आगे बढ़ाने के लिए उद्यम और उद्यमियों को बढ़ावा देने की ज़रूरत है और सरकार इसके लिए लगातार प्रयासरत है। आज बहनें अपने जीवन में आत्मनिर्भरता और प्रतिष्ठा हासिल कर रही हैं और ऐसे में हमें अपने इतिहास की जागरूक और सशक्त महिला किरदारों को भी याद करना चाहिए। हम अहिल्या नाता का 300वां जन्मोत्सव मना रहे हैं और वो हमारे लिए हमेशा एक प्रेरणा के रूप में सामने आती हैं। उन्होंने जितनी कठिन परिस्थितियों में जिस तरह के उच्च कीर्तिमान स्थापित किए हैं, वो आज भी हम सबको दिशा दिखाते हैं। रानी दुर्गावती ने अपने जीवनकाल में 50 युद्ध किए और सभी जीते। ऐसे कई उदाहरण हमारे सामने हैं जो भारतीय पराक्रम और पुरुषार्थ का अनूठा उदाहरण है। अच्छी बात है कि आज के दौर में बहनें अपने और अपने परिवार के विकास के लिए निरंतर आगे कदम बढ़ा रही हैं। जितने अधिक उद्यम स्थापित होंगे, उतना विकास की गति बढ़ेगी।’ उन्होंने कहा कि हम ऐसी संस्कृति से आते हैं जहां देवता पीछे हैं देवी आगे हैं और हम इसी परंपरा को आगे बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध हैं।


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श्रुति कुशवाहा

श्रुति कुशवाहा

2001 में माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता विश्वविद्यालय भोपाल से पत्रकारिता में स्नातकोत्तर (M.J, Masters of Journalism)। 2001 से 2013 तक ईटीवी हैदराबाद, सहारा न्यूज दिल्ली-भोपाल, लाइव इंडिया मुंबई में कार्य अनुभव। साहित्य पठन-पाठन में विशेष रूचि।

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