भोपाल| मध्य प्रदेश में बदले मौसम ने किसानों की चिंता बढ़ा दी है| बुधवार को प्रदेश के कई जिलों में तेज बारिश, आंधी और ओलावृष्टि हुई है| जिससे फसलों को नुकसान हुआ है तो वहीं कई जगह मंडियों और सोसाइटियों में रखा अनाज भी भीग गया| शहडोल, छिंदवाड़ा, बैतूल सिवनी व बालाघाट समेत प्रदेश के कई इलाकों में बारिश और ओले के गिरे हैं| छिंदवाड़ा में जहां ओले गिरे, वहीं बैतूल में तेज बारिश हुई। वहीं शहडोल में भी ओले गिरे। मौसम विभाग ने अगले 24 घंटों के लिए अलट जारी किया है।
बैतूल में दोपहर को गरज-चमक के साथ झमाझम बारिश हुई। करीब आधे से एक घंटे तक हुई तेज बारिश से कई इलाकों में पानी भर गया और जिला मुख्यालय समेत आसपास के क्षेत्रों में खेतों में कटा पड़ा गेहूं भी भीग गया। इधर तेज हवा के कारण कई जगह पेड़ भी गिरने की भी खबरें हैं। बारिश से गर्मी से तो राहत मिली है लेकिन किसानों की चिंता बढ़ गई।जिला अस्पताल परिसर में भी पेड़ का एक हिस्सा गिर गया। हालांकि अच्छी बात ये रही कि इसमें कोई हताहत नहीं हुआ है। अचानक हुई बारिश के कारण मंडी में रखा काफी अनाज भीग गया। मंडी पहुंचे किसान अनाज को भीगने से बचाने के लिए जद्दोजहद करते नजर आए। होली के चलते बाजार में रंग-गुलाल की दुकानें लगाने वाले दुकानदारों को भी बारिश के कारण काफी परेशानी हुई।
छिंदवाड़ा में गिरे बेर बराबर ओले
छिंदवाड़ा में दो दिनों से दिन में तेज गर्मी का असर साफ दिखाई दे रहा था। पर, रात में मौसम में ठंडक आ जाती थी। बुधवार को भी सुबह से ही तेज गर्मी महसूस हो रही थी, लेकिन दोपहर करीब 1.30 बजे के बाद अचानक मौसम ने करवट ली और बादल छा गए। तेज हवा के साथ तेज बारिश शुरू हो गई। ओले भी गिरने लगे। किसानों के मुताबिक तीन से चार मिनट तक चने से लेकर बेर बराबर ओले गिरे, जिससे फसलों को एक बार फिर नुकसान हुआ है। गांवों में इन दिनों कटाई चल रही है। कई किसानों ने फसल काटकर खेतों में रखी थी, जो बारिश में भीग गई। इधर, छिंदवाड़ा जिला अस्पताल की ओपीडी सहित कुछ वार्डों में बारिश का पानी भर गया। इसी तरह शहर की कुछ बस्तियों के घरों में भी पानी घुस गया। बैतूल में भी करीब 15 मिनट तक तेज बारिश हुई। किसान अनाज बचाने के लिए मशक्कत करते रहे।
सिवनी व बालाघाट में गिरे ओले, फसलों को नुकसान
सिवनी और बालाघाट में भी जमकर बारिश और ओले गिरे| सिवनी के कुरई व फुलारा क्षेत्र के दर्जनों गावों में बुधवार दोपहर अचानक बिगड़े मौसम के बाद हुई ओलावृष्टि से फसलों को नुकसान पहुंचा है। वहीं बालाघाट जिले के बैहर, परसवाड़ा, लांजी, किरनापुर, लामता क्षेत्र में तेज आंधी-तूफान के साथ बारिश और ओलावृष्टि हुई। बेर के आकार के ओले गिरने से दलहनी-तिलहनी फसलों और सब्जियों को नुकसान हुआ है। कुरई विकासखंड के गांव बिलंदा, सुकरी, घोरावारी, सलखनी सहित छिंदवाड़ा मार्ग में फुलारा, कातलबोड़ी, मुंगवानी क्षेत्र के मढ़वा, जैतपुर, किशनपुर, खैरी, भाटीवाड़ा, हथनापुर सहित दर्जन भर गांव में बुधवार दोपहर ओलावृष्टि हुई। कुरई क्षेत्र में तकरीबन आधा दर्जन गांवों में 10 मिनिट तक आंवले के आकार के ओले गिरे। तेज हवाओं के साथ बारिश होने से खमरिया गांव के पास पेड़ गिरने के कारण अरी से कटंगी मार्ग करीब आधा घंटे तक अवरुद्ध रहा। मजदूरों ने मशक्कत के बाद पेड़ को काट काटकर सड़क से हटाया। इसके बाद इस मार्ग में आवागमन चालू हो सका। कल्याणपुर से आष्टा मार्ग के बीच भी पेड़ गिरने से कुछ साइकिलें चपेट में आ गईं। मढ़वा क्षेत्र में कई घरों से तेज हवाओं के कारण घरों के छप्पर उड़कर दूर जा गिरे।
इन जिलों में बारिश के आसार
मौसम विभाग ने आगामी 24 से 48 घंटों के दौरान राज्य के कई हिस्सों में बौछारें पड़ने की संभावना जताई है। मौसम विभाग के अनुसार, यह ट्रेंड मार्च के महीने में हर बार देखने को मिलता है, जो कि इस बार भी जारी रहेगा। महीने के अंत में 27 और 28 मार्च के आस-पास एक बार फिर से बूंदाबांदी हो सकती है। बादलों के छंटने से तापमान में उछाल आया है, मगर मौसम में एक बार फिर बदलाव के आसार हैं, जिससे आगामी दो दिनों में बैतूल, छिंदवाड़ा, सिवनी, बालाघाट, नरसिंहपुर, जबलपुर, मंडला, डिंडोरी, अनूपपुर आदि स्थानों पर बौछारें पड़ सकती हैं। पशिचमी विक्षोभ के चलते जम्मू एवं कश्मीर व हिमाचल में बारिश और बर्फबारी की संभावना है जिसका असर मध्य प्रदेश पर भी हो सकता है। राज्य के तापमान में फिर उछाल आया है।