BHOPAL NEWS : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने पुलिस को स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि मध्यप्रदेश ‘शांति का प्रदेश’ है, कोई भी कानून को हाथ में ले यह बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। ऐसे अराजक तत्वों पर मध्यप्रदेश पुलिस द्वारा कठोर कार्यवाही की जाए। प्रदेश में शांति और सौहार्द बना रहे यही हमारी प्राथमिकता है। इसी अनुक्रम में छतरपुर के कोतवाली थाने में 21 अगस्त की दोपहर समुदाय विशेष द्वारा ज्ञापन सौंपने के दौरान हुए पथराव के मामले में पुलिस ने 48 नामजद एवं 100 से अधिक अन्य आरोपियों के विरूद्ध थाना कोतवाली में प्रकरण पंजीबद्ध किया गया है। प्रकरण में अभी तक 70 से अधिक लोगों से पुलिस द्वारा पूछताछ की गई तथा 20 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है।
जिलाबदर/एनएसए और शस्त्र लायसेंस निरस्त करने की कार्रवाई
छतरपुर में बुधवार रात जिला प्रशासन द्वारा संयुक्त फ्लैग मार्च निकाला गया तथा विभिन्न व्यापारी वर्ग, संगठनों से चर्चा कर शांति व्यवस्था बनाए रखने हेतु आश्वस्त कर स्थिति को नियंत्रित किया गया। पुलिस द्वारा अराजक तत्वों के विरुद्ध सतत् कार्यवाही की जा रही है। भीड़ को भड़काने वाले आपराधिक प्रवृत्ति के लोगों के विरुद्ध जिलाबदर/एनएसए और शस्त्र लायसेंस निरस्त करने की कार्यवाही प्रस्तावित की जा रही है।
यह था मामला
छतरपुर में बुधवार, 21 अगस्त को दोपहर लगभग 2.45 बजे शहर सदर जावेद अली एवं पूर्व सदर शहजाद अली के साथ 100-150 लोग महाराष्ट्र में समुदाय विशेष पर की गई आपत्तिजनक टिप्पणी के विरोध में ज्ञापन देने के लिए कोतवाली थाने पहुंचे थे। इस दौरान पुलिस और प्रशासन की टीम ने पहुंचकर समुदाय के लोगों से चर्चा की और ज्ञापन प्राप्त कर अभिस्वीकृति दी । मौके पर प्रशासन और पुलिस के अधिकारियों द्वारा उन्हें समझाइश दी गई। इसके बाद कुछ उपद्रवी लोगों द्वारा थाने पर पथराव किया गया। इस घटना में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक छतरपुर और थाना प्रभारी कोतवाली सहित 10 लोग घायल हो गए। उपद्रवियों ने शासकीय सम्पत्ति को नुकसान पहुंचाया। उपद्रवियों को तितर-बितर करने और स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने आवश्यक बल प्रयोग किया। प्रकरण की विवेचना दौरान आरोपियों को चिह्नित करने और धरपकड़ के लिए पुलिस टीमें गठित की गईं। सीसीटीवी फुटेज एवं घटना के विभिन्न वीडियो फुटेजों का बारीकी से अवलोकन कर आरोपियों की पहचान की गई।