MP News : गोदाम संचालकों ने व्यवसाय की समस्याओं को लेकर मंत्री को लिखा पत्र, जानें क्या कहा

Amit Sengar
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MP News : प्रदेश के गोदाम संचालकों ने व्यवसाय की समस्याओं को लेकर खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री को पत्र लिखा है। जिसमें वेयरहाउस संचालकों ने कहा कि लंबे समय से उनका भुगतान नहीं किए जाने और कई समस्यों का जिक्र किया है। जो इस प्रकार है…

1. धान के भंडारण में सूखत 5% आ रही है जबकि विभाग द्वारा केवल 2 प्रतिशत की छूट दी जा रही है। मूंग भंडारण में से 2 प्रतिशत की सूखत आ रही है। जबकि मूंग में सूखत का प्रावधान नहीं है। हमें जो किराया मिलता है यह पूरा सूखत में ही काट लिया जाता है। इस विषय पर कई पत्राचार एवं चर्चा विभाग से हो चुकी है। किन्तु अभी तक कोई भी निराकरण नहीं किया गया है।

2. गोदाम में 2016-17 वर्ष में प्याज का भंडारण शासन द्वारा किया गया था जिसमें किराए का भुगतान आज दिनांक तक नहीं हुआ है।

3. गोदाम स्तरीय खरीदी केन्द्रों गेहू, धान, मूंग आदि के कमीशन का भुगतान तीन वर्षों से संबित है।

4. गोदाम स्तरीय जो उर्पाजन केन्द्र स्थापित किए जाते है उसमें FAQ स्कंध का भंडारण करना रहता है किन्तु केवल उपार्जन समिति और सर्वेयर को गुणवत्ता चेक करने का अधिकार दिया गया है जिसमें भारी भ्रष्टाचार कर अमानक माल की खरीदी की जाती है। अतः नियम में संशोधन किया जाए कि गोदारा संचालक एवं विभाग द्वारा स्विकृत मानक स्वन्थ का ही भंडारण करवाया जाए।

5. गेहू धान एवं मूंग का भंडारण का किराया 2 वर्षों से लम्बित है। जिन जिन्सी का पूर्ण रूप से भुगतान होने के बाद लास या गेन प्रमाण पत्र जमा हो चुके है. कटौत्रा का भी भुगतान नहीं हो रहा है। विभाग द्वारा अनुबंध में स्पष्ट उल्लेख है कि गोदामों के किराया का हर माह भुगतान किया जाएं।

6. विगत वर्ष में स्कंध का बीमा विभाग द्वारा कराया जा रहा है जिसमें गोदाम संचालको को आर्थिक हानी उठानी पढ़ रही है। बीमा कम्पनी एजेंट द्वारा सीधे डिस्काउंट दिया जाता है। स्कंध बीमा पूर्व की तरह ही गोदाम संचालकों द्वारा कराए जाने की व्यवस्था लागू की जाए।

7. मध्य प्रदेश में उपार्जित होने वाले स्कंध से कई गुना क्षमता के गोदाम वर्तमान में उपलब्ध है। अतः साइली में भंडारण पर रोक लगाई जाए। केन्द्र से गोदाम निर्माण पर दी जा रही सब्सिडी भी बन्द कराई जाए।

8. FCI द्वारा भुगतान (उठाव ) में मनमानी की जा रही है FIFO पद्धिति से उठाव न कर मनमर्जी से किया जाता है। FIFO पद्धिति का शक्ति से पालन कराया जाए।

9. ऑफलाइन बिलों का भुगतान 3 वर्ष से लम्बित |

MP News : गोदाम संचालकों ने व्यवसाय की समस्याओं को लेकर मंत्री को लिखा पत्र, जानें क्या कहा

बता दें कि गोदाम संचालकों ने केन्द्र सरकार की ग्रामीण भण्डारण योजना के तहत बैंकों से ऋण लेकर अपना व्यवसाय कर रहे है। मगर इन समस्या के कारण ऋण अदायगी नहीं कर पाने के कारण NPA हो रहे हैं। और हमारी समस्याओं पर गम्भीरता पूर्वक विचार कर अतिशीघ्र निराकरण करें।

 


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मुझे अपने आप पर गर्व है कि में एक पत्रकार हूँ। क्योंकि पत्रकार होना अपने आप में कलाकार, चिंतक, लेखक या जन-हित में काम करने वाले वकील जैसा होता है। पत्रकार कोई कारोबारी, व्यापारी या राजनेता नहीं होता है वह व्यापक जनता की भलाई के सरोकारों से संचालित होता है।वहीं हेनरी ल्यूस ने कहा है कि “मैं जर्नलिस्ट बना ताकि दुनिया के दिल के अधिक करीब रहूं।”

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