Gwalior Lokayukta Police Action : रिश्वतखोरी पर जीरो टोलरेंस के निर्देश के बावजूद सरकारी अधिकारी कर्मचारी रिश्वत लेने से भय नहीं खा रहे , ग्वालियर लोकायुक्त पुलिस की टीम ने आज एक बार फिर एक अधिकारी को रिश्वत लेते पकड़ा है, लोकायुक्त ने मुरैना में पदस्थ पशु पालन विभाग के उप संचालक को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया है, खास बात ये हैं कि उप संचालक अपने ही विभाग के कर्मचारी से रिश्वत ले रहे थे।
जानकारी के मुताबिक पशु पालन विभाग मुरैना में पदस्थ लैब टेक्नीशियन सतेन्द्र सिंह मावई ने विभाग द्वारा संचालित आचार्य विद्यासागर गौ समवर्धन योजना के तहत मिलने वाली राशि के लिए आवेदन किया था, उप संचालक आरपीएस भदौरिया ने ओबीसी वर्ग को मिलने वाली छूट का लाभ दिलाने के बदले आवेदक से रिश्वत मांगी।
उप संचालक ने मांगी 15 हजार रुपये की रिश्वत
उप संचालक ने फरियादी से कुल 15 हजार रुपये रिश्वत की मांग की और पहली क़िस्त के रूप में 7 हजार रुपये ले लिये, फरियादी ने इसकी शिकायत ग्वालियर लोकायुक्त एसपी कार्यालय में कर दी, लोकायुक्त की टीम ने फरियादी की बात सुनने के बाद ट्रेप की प्लानिंग की और रेकॉर्डर देकर दोनों की बात कराई।
पहली क़िस्त ले चुके थे आज दूसरी क़िस्त लेते समय रंगे हाथ गिरफ्तार
उप संचालक भदौरिया ने फरियादी सतेन्द्र को आज 2 अप्रैल को अपने कार्यालय में दूसरी क़िस्त 3 हजार रुपये लेकर आने के लिए कहा, निर्धारित समय पर लोकायुक्त पुलिस की टीम फरियादी सतेन्द्र के साथ कार्यालय उप संचालक पशु पालन विभाग मुरैना पहुंच गई, फरियादी ने रिश्वत की राशि जैसे ही दी लोकायुक्त ने अन्दर घुसकर उप संचालक आरपीएस भदौरिया और सहायक पशु चिकित्सा क्षेत्र अधिकारी अशोक शर्मा को रंगे हाथ पकड़ लिया।
जेब से रिश्वत की राशि निकलवाकर हाथ धुलवाए, पानी गुलाबी हो गया
पुलिस ने आरोपियों की जेब में रखी रकम निकलवाई और हाथ धुलवाए तो पानी गुलाबी हो गया, लोकायुक्त की टीम ने वैधानिक कार्रवाई करते ही प्रकरण बनाकर दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया । ट्रेप करने वाली टीम में डीएसपी विनोद सिंह कुशवाह, इंस्पेक्टर कवींद्र सिंह चौहान, ब्रजमोहन नरवरिया, रानीलता नामदेव सही त्कुल 15 सदस्यीय दल शामिल है।