Rajyog 2024 : 200 साल बाद बन रहे एक साथ 3 राजयोग, चमक उठेगी 3 राशियों की किस्मत, करियर से लेकर व्यापार में बड़ा लाभ

ज्योतिष के मुताबिक, फरवरी मार्च में 3 राजयोग शश, रुचक और मालव्य का निर्माण होने जा रहा है जो मिथुन, मकर और वृषभ राशि के लिए शुभ साबित होगा।करीब 200 साल बाद शनि देव के कुंभ में गोचर से शश महापुरुष राजयो, मंगल ग्रह के उच्च राशि मकर में प्रवेश से रूचक राजयोग और शुक्र ग्रह के उच्च राशि मीन में आने से मालव्य राजयोग बनेगा।

Pooja Khodani
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RAJYOG 2024

Shash/Ruchak/malavya Rajyog: ज्योतिष शास्त्र में न्याय और कर्म के देवता शनि और ग्रहों के सेनापति की अहम मानी जाती है, जब भी यह ग्रह चाल बदलते है तो पृथ्वी से लेकर मानव जीवन पर सकारात्मक और नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। वर्तमान में शनि देव कुंभ राशि में विराजमान हैं और शश राजयोग बन रह है। वही मंगल ने उच्च राशि मकर राशि में आते ही रुचक राजयोग बनाया है।

मार्च में सौंदर्य, कला और प्रेम के कारक शुक्र उच्च राशि मीन में गोचर कर मालव्य राजयोग बनाएंगे।खास बात ये है कि 200 साल बाद यह पहला मौका होगा जब 3 ग्रह 3 राजयोग बनाने जा रहे है। यह राजयोग 3 राशियों को फरवरी से मार्च तक विशेष लाभ प्रदान करेंगे, आईए जानते है यह राजयोग कैसे बनते है और किन राशियों के लिए लकी साबित होंगे……….

कब बनते है कुंडली में ये राजयोग

  • ज्योतिष के मुताबिक, पंच महापुरुष राजयोग में से एक योग मालव्य राजयोग है। यह योग शुक्र के केंद्र के कारण बनता है। यह योग शुक्र से संबंधित है, जिस भी जातक की कुंडली में शुक्र लग्न से अथवा चन्द्रमा से केन्द्र के घरों में स्थित है यानि शुक्र यदि कुंडली में लग्न और चंद्रमा से 1, 4, 7 और 10वें घर में वृषभ, तुला या फिर मीन राशि में स्थित है, तो फिर ये राजयोग बनता है। काव्य, गीत, संगीत, फिल्म, कला और इसी तरह के कार्यों में वह सफलता अर्जित करता है।
  • वैदिक ज्योतिष के अनुसार, रूचक पंच महापुरुष योग मंगल ग्रह के द्वारा बनता है।जब जन्मकुंडली के केंद्र स्थान में मंगल अपनी उच्च राशि मकर अथवा अपनी मूल त्रिकोण राशि मेष या फिर अपनी स्वराशि वृश्चिक में विराजमान होते है, तो रुचक राजयोग का निर्माण होता है। इस राजयोग से साहस, दौलत-शौहरत में वृद्धि होती है, व्यक्ति बलशाली बनता है।
  • ज्योतिष के अनुसार, शनि के कारण बनने वाला शश योग पंचमहायोग में से एक राजयोग है। यदि आपकी कुंडली में शनि लग्न से अथवा चन्द्रमा से केन्द्र के घरों में स्थित है अर्थात शनि यदि कुंडली में लग्न अथवा चन्द्रमा से 1, 4, 7 अथवा 10वें घर में तुला, मकर अथवा कुंभ राशि में स्थित है तो यह शश योग बनता है। कुंभ राशि शनि की स्वराशि है जो की मूल त्रिकोण राशि भी है। अगर राशि में शश योग है तो जातक पर शनि के कुप्रभाव, साढ़ेसाती और ढैय्या के बुरे प्रभाव नहीं पड़ते हैं।

राजयोग से 3 राशियों को विशेष लाभ

मिथुन राशि : मंगल, शनि और शुक्र के चाल बदलने से बनने वाले 3 राजयोग जातकों के लिए शुभ सिद्ध हो सकते है। किस्मत का साथ मिलेगा। करियर और व्यापार में तरक्की और धनलाभ के प्रबल योग है। देश- विदेश की यात्रा पर जा सकते हैं। छात्रों के लिए समय उत्तम रहेगा, किसी प्रतियोगी परीक्षा में सफलता मिल सकती है।शश महापुरुष राजयोग मेहनत का फल मिलेगा, नौकरी में नई अवसर मिल सकते हैऔर कोई कोई धार्मिक या मांगलिक कार्यक्रम में शामिल हो सकते हैं। मालव्य राजयोग से सरकारी नौकरी की तलाश और घर या वाहन खरीदने की इच्छा पूरी हो सकती है। व्यापार में अपार सफलता मिल सकती है, कोई बड़ी डील मिल सकती है। लंबे समय से अटका और रूका हुआ पैसा वापस मिल सकता है।

वृषभ राशि : एक साथ तीन राजयोग का बनना जातकों के लिए अनुकूल साबित हो सकता है। काम- कारोबार में तरक्की और समाज में मान- सम्मान और प्रतिष्ठा की प्राप्ति होगी । किसी लंबी यात्रा पर जा सकते है। भाग्य का साथ मिलेगा और आय में भी वृद्धि होगी। बेरोजगार को नौकरी के नए अवसर मिल सकते हैं। रूचक राजयोग से भाग्योदय हो सकता है। काम- कारोबार के संबंध से यात्रा भी कर सकते हैं। परिवार का साथ मिलेगा। विदेश में जाकर पढ़ाई करने वाले छात्रों का सपना पूरा हो सकता है। वहीं इस समय रुके हुए कार्य भी बनेंगे। कार्यों में भी सफलता प्राप्त करेंगे।

मकर राशि : 3 राजयोग का बनना लाभकारी साबित हो सकता है। समय- समय पर आकस्मिक धनलाभ की प्राप्ति हो सकती है। आर्थिक स्थिति मजबूत होगी। कोई प्रापर्टी या वाहन खरीद सकते हैं। काम- कारोबार के संबंध से यात्रा भी कर सकते है। आय में इजाफा देखने को मिलेगा। लंबे समय से अटके और रुके कामों को गति मिलेगी। करियर के लिए समय उत्तम रहेगा। छात्रों को भी मेहनत का फल मिलेगा।

(Disclaimer : यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं, ज्योतिष, पंचांग, धार्मिक ग्रंथों और जानकारियों पर आधारित है, MP BREAKING NEWS किसी भी तरह की मान्यता-जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। हमारा उद्देश्य महज सूचना पहुंचाना है। इन पर अमल लाने से पहले अपने ज्योतिषाचार्य या पंडित से संपर्क करें)

 


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खबर वह होती है जिसे कोई दबाना चाहता है। बाकी सब विज्ञापन है। मकसद तय करना दम की बात है। मायने यह रखता है कि हम क्या छापते हैं और क्या नहीं छापते। "कलम भी हूँ और कलमकार भी हूँ। खबरों के छपने का आधार भी हूँ।। मैं इस व्यवस्था की भागीदार भी हूँ। इसे बदलने की एक तलबगार भी हूँ।। दिवानी ही नहीं हूँ, दिमागदार भी हूँ। झूठे पर प्रहार, सच्चे की यार भी हूं।।" (पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर)

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