Shaligram Puja : हिंदू धर्म में शालिग्राम पूजा का विशेष और महत्वपूर्ण स्थान है। शालिग्राम भगवान विष्णु का स्वरूप माने जाते हैं और उनकी पूजा से साधकों को अनेक लाभ होते हैं। विष्णु पुराण में कहा गया है कि जिस घर में शालिग्राम विराजमान होते हैं, वह घर किसी तीर्थ स्थल से कम नहीं होता। साथ ही घर में सुख-शांति और समृद्धि बनी रहती है। वहीं, घर के सभी सदस्यों को शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य लाभ प्राप्त होते हैं। बता दें कि शालिग्राम की पूजा से घर में नकारात्मक ऊर्जा का नाश होता है।
ऐसे करें पूजा
- सूर्योदय से पहले उठें।
- स्नान करने के बाद साफ वस्त्र धारण करें।
- शालिग्राम की प्रतिमा को पंचामृत (दूध, दही, घी, शहद, और शुद्ध जल) से स्नान कराएं।
- इसके बाद उन्हें सादा जल से स्नान कराएं।
- फिर चंदन का तिलक लगाएं।
- अब फूल, अक्षत, धूप और भोग अर्पित करें।
- जिसके बाद शालिग्राम भगवान की घी का दीपक से पूजा करें।
- भगवान विष्णु की आरती करें।
इन नियमों का करें पालन
- पूजा के स्थान को हमेशा स्वच्छ और पवित्र रखें।
- नियमित रूप से उस स्थान की सफाई करें, वहां गंदगी न रहने दें।
- घर में केवल एक ही शालिग्राम रखें, क्योंकि इसे शुभ माना जाता है।
- मांस-मदिरा का सेवन ना करें।
- किसी से भी वाद-विवाद ना करें।
- सीधे अक्षत (सफेद चावल) नहीं चढ़ाएं।
- चावलों को हल्दी से पीला रंगने के बाद ही अर्पित करें।
- भोग में तुलसी के पत्ते डालकर अर्पित करें।
इन मंत्रों का करें जाप
- ॐ नमो भगवते वासुदेवाय:
- ॐ श्रीमन्नारायणाय नमः:
- ॐ विष्णवे नमः:
- ॐ लक्ष्मीनारायणाय नमः:
- ॐ शालिग्रामाय नमः:
(Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। MP Breaking News किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।)