देहरादून: डोईवाला के थानो वन रेंज में एक जंगली हाथी ने स्कूटी पर सवार परिवार पर जानलेवा हमला कर दिया। इस हमले में दंपति के 12 वर्षीय बेटे की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि पति-पत्नी ने किसी तरह भागकर अपनी जान बचाई। घटना कालूवाला-धन्याड़ी मोटर मार्ग पर हुई, जो रिजर्व फॉरेस्ट के बीच से होकर गुजरता है।
जानकारी के अनुसार, कोठारी मोहल्ला निवासी कमल थापा अपनी पत्नी नीलम और 12 वर्षीय बेटे कुणाल के साथ स्कूटी पर थे। वे बेटे की दवा लेकर अस्पताल से लौट रहे थे। इसी दौरान, जंगल के रास्ते पर एक मोड़ पर अचानक एक हाथी अपने बच्चे के साथ उनके सामने आ गया।
सूंड से खींचकर बच्चे को मार डाला
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि परिवार कुछ समझ पाता, इससे पहले ही हाथी ने स्कूटी पर बीच में बैठे कुणाल को अपनी सूंड से खींच लिया। इसके बाद गुस्सैल हाथी ने बच्चे को जमीन पर पटक-पटककर मार डाला। कमल और नीलम ने बेटे को बचाने की कोशिश की, लेकिन हाथी ने उन पर भी हमला करने का प्रयास किया। दोनों ने पास की खाई में कूदकर अपनी जान बचाई।
शोर सुनकर आसपास के लोग इकट्ठा हो गए और उन्होंने आग जलाकर हाथी को जंगल की ओर खदेड़ा। सूचना मिलते ही जॉलीग्रांट पुलिस और थानो वन रेंज की टीम मौके पर पहुंची।
शॉर्टकट पड़ा जिंदगी पर भारी
बताया जा रहा है कि कमल थापा ने लगभग 12 किलोमीटर का सफर बचाने के लिए जंगल के इस शॉर्टकट रास्ते को चुना था। यह रास्ता रिजर्व फॉरेस्ट के अंदर आता है और यहां जंगली जानवरों, खासकर हाथियों की आवाजाही का खतरा हमेशा बना रहता है। इस शॉर्टकट ने उनके परिवार की खुशियां छीन लीं।
परिवार के करीबियों ने बताया कि कुणाल बचपन से ही बीमार रहता था और उसका लंबे समय से इलाज चल रहा था। हाल ही में उसकी हालत में सुधार होने लगा था। गुरुवार को भी दंपति उसकी दवा लेकर ही घर लौट रहे थे, जब यह दुखद हादसा हो गया। बेटे की मौत से माता-पिता गहरे सदमे में हैं।
क्षेत्र में बढ़ रहा हाथियों का आतंक
गौरतलब है कि कुछ दिन पहले ही लच्छीवाला रेंज में भी सुबह की सैर पर निकले एक बुजुर्ग पर हाथी ने हमला कर उन्हें गंभीर रूप से घायल कर दिया था। इन लगातार हो रही घटनाओं ने वन्यजीवों के आबादी वाले क्षेत्रों में बढ़ते दखल और मानव-वन्यजीव संघर्ष पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।





